Friday, February 5, 2010

हमारी माँ को मत बाटों !!!


भारत को आज़ाद हुए साल हो गए पर क्या सही माएने में देश आज़ाद है ? नहीं ! जी हाँ आज भी देश को असामाजिक तत्वों ने अपने जाल में इस कदर जकड रखा है की मासूम लोग भी इसके नापाक इरादों से बच नहीं पाते ! जो सरकार चला रहे है वोह खुद इसके प्रभाव से बच नहीं पाते और न सरकार को खड़ा करने वाले आम लोग... कभी भष्टाचार , तो कभी देश को टुकडो में बांटने वाले जाती धरम के ठेकेदार !

हर कोई यहाँ सिर्फ अपने बनाये नियमो पे चलना चाहता है , चाहता है की सामने वाला व्यक्ति भी उसकी पूजा करे और उसके बताये रस्ते पर चले .. मेरा देश मेरा वतन करने वाले लोग ही सबसे पहले अपने पैर पीछे खींच लेते है जब देश में कोई मुसीबत को आपदा आती है तो ! तब ये कायर लोग सामने क्यूँ नहीं आते ? क्यूँ ?

" सामना " ये ब्लॉग एक ऐसी व्यक्ति की करतूत बयान करता है जो खुद कुछ नहीं कर सकता , कुछ बाला नहीं कर सकता और देश में आये दिन बटवारे जैसे कारको को सामने ला ला कर देश के लोगो के अंदर एक दुसरे के प्रति हीन भावना पैदा करने की पूरी कोशिश कर रहा है...

भारतवर्ष में सबका एक सामान अधिकार है सबको साथ चलने , हर धर्म , भाषा का प्रोग करने का पूर्ण अधिकार है फिर क्यूँ ऐसे लोगो की बातें मुंबई के लोग सुन रहे है ? क्यूँ ? क्या उनके मन में इतना कॉफ़ समां गया है या फिर वोह देश को बातें वाली सोच को सही मानते है ? या फिर वोह ये सोच रहे है की जो हो रहा है होने दो ये कभी रुकने वाला नहीं.. आज ये चुप होगा तो कल कोई और ऐसी आसामाजिक बातें दोहराएगा ?

इन् जनाब की बात को एक तरफ़ा रख दे तो दूसरी तरफ राज्यों को अलग नाम देने की बातें सामने आ रही है जैसे की तेलन्गाना मामला सामने आया फिर उतर प्रदेश को अलग अलग राज्यों में बाटने की बातें !

देश वैसे ही अनेक उल्जनो से जुन्ज रहा है ऊपर से ये आतंरिक मामले सुलाजाने के बदले और बढ रहे है.. अगर देश सारी सुरक्षा देश के अंदर की लगा देगा तो पडोसी राज्यों से हो रहे हमलो की सुरक्षा क्या ये देश को बाटने वाले लोग करेंगे....

जब चल रही होंगी देश में गोलिया बह रहा होगा हर तरफ खून  ही खून तब ये क्या घोड़े बेच कर सो जातें है ? तब क्यूँ नहीं सामने आते ये समाज के ठेकेदार ? क्यूँ? क्यूंकि ये कायर है बस लोगो की भावनाओं के साथ खेलना आता है इनको , चाहे उन् भावनाओं में बह लोग एक दुसरे की जान ही क्यूँ न ले ले इनको कोई फरक नहीं पड़ेगा...

देश में अनेक समस्याए पहले से ही है सबसे बड़ी तो "ग्लोबल वार्मिंग" जिसके लड़ने के लिए पूरा विश्व आगे बढ रहा है , ये ठेकेदार देश को इस समाया से लड़ने की प्रेरणा क्यूँ नहीं देते ? देश में बेरोजगारी बढ रही है फिर ये ठेकेदार लगू उद्यूग या अनय बेरोजगारी को मिलाने वाले सन्देश क्यूँ नहीं देते ? देश में आज भी कोई लोग भूक से भिलाकते रहते है ये ठेकदार उस भूक को मिटने के बारे में क्यूँ नहीं सोचते ? देश में कूड़ा करकट हर तरफ फेल रहा है ये देश में साफ़ सफाई रखने का संदेश क्यूँ नहीं देते ? क्यूंकि ये जानते है बुराई अचाई से पहले प्रभाव डालती है ... फूट डालो और शासन करो बस यही नियम है इनका...जो कभी किसी का भला नहीं सोच सकते ...!!

सरकार को इन लोगो के ब्लॉग को कारिज कर देना चाहिए ताकि ये लोग और कोई ऐसी हरकते या ऐसे संकेत न दे की देश की जनता आपस में लड़  मरे....

ये भारत हमारी माता है हमारी माँ ! जो हमें खिलाती है हमें अपने में संजोये है ? फिर हम अपनी माँ को केसे अलग कर सकते है ? बचा लो अपनी माँ को .. लिखो ब्लॉग अपने देश में पनप रहे ऐसे असामाजिक तत्वों को मिटने के लिए ... छोटी छोटी कोशिश आगे चल कर मुकाम जरुर हासिल करेगी... !

जय हिंद!
लेखिखा
" दिव्या"